इस पोस्ट में हम विटामिन सी के बारे में जानेंगे। विटामिन सी का रासायनिक नाम एस्कार्बिक एसिड हैं। विटामिन सी पानी में घुलनशील होता है। विटामिन सी की मदद से हमारे शरीर में काॅलेजन का उत्पादन होता है। काॅलेजन एक प्रोटीन को कहा जाता है। जो त्वचा, जोड़ों, बालों, हड्डियों और रक्त वाहिकाओं को बनाने में मदद करता है। विटामिन सी की कमी के कई कारण हो सकते हैं। जैसे- खराब डाइट, शराब, धूम्रपान, डायलिसिस या कोई गंभीर मानसिक बीमारी।

विटामिन सी की कमी से होने वाले लक्षण

 जख्म धीरे-धीरे भरना, त्वचा से संबंधित बिमारियां, बालों का झड़ना या सूजन का होना, दांतों का गिरना या मसूड़ों से खून आना ये सभी लक्षण विटामिन सी की कमी के कारण शरीर में धीमी गति से बनने वाला काॅलेजन प्रोटीन से पैदा होते हैं। जिसमें रक्त वाहिकाएं ठीक से काम नहीं करती या फिर कमजोर हो कर टूट जाती है। जिससे ये सभी लक्षण पैदा होते है। साथ ही विटामिन सी की कमी के कारण हमारे शरीर का प्रतिरक्षा प्रणाली तंत्र कमजोर हो सकता है। जो कि हमारे शरीर में रोग पैदा करने वाले बैक्टीरिया से लड़ने में मदद करता है। विटामिन सी की कमी से हड्डियां भी कमजोर हो सकती है और हड्डियों के टूटने का खतरा बढ़ सकता है। बच्चों को विटामिन सी की उपयुक्त मात्रा देनी चाहिए क्योंकि बच्चो की हड्डियों में वृद्धि होती है। जिससे उनका विकास सही से हो सके।

विटामिन सी के नेचुरल स्रोत

  विटामिन सी लगभग सभी फल सब्जियों में कुछ मात्रा में पाया जाता हैं। लेकिन कुछ खट्टी चीजें जैसे - नींबू, संतरा, कीवी, मौसम्मी और आंवला आदि में अच्छी मात्रा में पाया जाता हैं।

  विटामिन सी सभी को अलग-अलग मात्रा में लेनी होती है। यह व्यस्क पुरुषों को प्रतिदिन 90mg की मात्रा लेनी चाहिए और वही व्यस्क महिलाओं को प्रतिदिन 75mg की मात्रा लेनी चाहिए। लेकिन जो महिलाएं स्तनपान कराती है उन्हें 120mg तक की मात्रा लेनी चाहिए। जो पुरुष धूम्रपान करते हैं उनके लिए विटामिन सी बहुत लाभकारी होता है। उन्हें विटामिन सी की प्रतिदिन 250mg की मात्रा लेनी चाहिए। यदि कोई इसका अधिक सेवन करता है जैसे प्रतिदिन 2000mg के आस-पास तो उसे पथरी होने का खतरा बढ़ जाता है। यदि आप 200-250mg के बीच विटामिन सी मात्रा लेते हैं तो शरीर को जितना चहिए होता है वह उपयोग करता है बाकि को शरीर से बाहर वेस्ट के रुप में निकाल देता है। रोज फलों व‌ सब्जियों द्वारा प्राप्त विटामिन सी की मात्रा शरीर में कोई नुक्सान नहीं पहुंचाती है। परंतु सप्लीमेंटरी द्वारा 

इसकी अधिक मात्रा नुक्सान पहुंचा सकती है। जी मचलना, पेट में ऐंठन, दस्त जैसी समस्या खड़ी हो सकती है। स्वस्थ्य रहने के लिए सही मात्रा में विटामिन सी का सेवन करना चाहिए। यदि आपको यह जानकारी अच्छी लगी तो इस ब्लॉक को सब्सक्राइब करें और इस पोस्ट को लाइक और शेयर करें।




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